दलित आईएएएस जी कृष्णैया हत्या मामले में बिहार के पूर्व संसद और बिहार माफिया आनंद मोहन की समय से पहले रिहाई को चुनौती देने वाली याचिका को सुप्रीम कोर्ट ने स्वीकार ली है। जिस पर 8 मई को सुप्रीम कोर्ट सुनवाई करेगा। बता दें की जी कृष्णैया की पत्नी ने आनंद मोहन की समय से पहले रिहाई पर बिहार सरकार को चौनौती दी थी।
जी कृष्णैया हत्या मामले में आनंद मोहन की मुश्किलें फिर से बढ़ सकती है। बता दें की नीतीश सरकार ने जेल मेन्युअल में बदलाव कर आनंद मोहन को जेल से रिहा किया था। वो अब जेल से बाहर भी आ चुके है और इन दिनों अपने सांसद बेटे चेतन आनंद की शादी की तैयारियों में व्यस्त है। वहीं अब नीतीश सरकार के फैसले को चुनौती देते हुए दिवंगत डीएम की पत्नी उमा ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। उन्होंने याचिका दाखिल करते हुए अपील की है कि आनंद मोहन को फिर से गिरफ्तार किया जाए।
याचिका में कहा गया है की उस वक्त ऐसे हत्याकांड में माफ़ी की कोई गुंजाइश नहीं थी। इसलिए नीतीश कुमार की सरकार ने नियमों में बदलाव कर आनंद मोहन को रिहा किया गया। उन्होंने कहा है की 29 साल पुराने मामलों में ऐसा नहीं होना चाहिए इसलिए बिहार सरकार के इस नियम को रद्द किया जाए। बता दें की उमा कि इस याचिका पर सुप्रीम कोर्ट 8 मई को सुनवाई करेगा।